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रूस ने यूक्रेनी पक्ष के साथ बातचीत से कभी इनकार नहीं किया, रूस-यूक्रेन युद्ध अब बंद होना चाहिये : दक्षिण अफ्रीका


दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा ने अपने रूसी समकक्ष व्लादिमीर पुतिन से दो टूक कहा है कि यूक्रेन-रूस के बीच चल रहा युद्ध जैसे भी हो, अब समाप्त होना चाहिए।

रामाफोसा ने शनिवार को सेंट पीटर्सबर्ग में 18वीं सदी के कॉन्स्टेंटिनोव्स्की पैलेस में कहा कि इस युद्ध का अंत होना चाहिए इसे बातचीत और कूटनीतिक माध्यम, जैसे भी हो अब सुलझाया जाना चाहिए।”

सिरिल रामफोसा ने अपने प्रतिनिधिमंडल के साथ बैठक की, जिसमें सात अफ्रीकी नेता शामिल थे, इस बैठक में उन्होंने “एक बहुत स्पष्ट संदेश के साथ कहा कि रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे इस युद्ध को अब समाप्त करना होगा”। यूक्रेन और रूस के संघर्ष में अफ्रीकी शांति मिशन को जारी रखने के लिए रमाफोसा शनिवार को रूसी संघ के सेंट पीटर्सबर्ग पहुंचे थे।

रामफोसा ने कहा कि इस युद्ध का अफ्रीकी महाद्वीप और वास्तव में दुनिया भर के कई अन्य देशों पर नकारात्मक प्रभाव पड़ रहा है। इसके साथ ही रामफोसा ने अफ्रीकी शांति पहल के 10 बिंदुओं को भी रखा, जो “विश्वास-निर्माण उपायों” की एक श्रृंखला पर समझौते की मांग कर रहा है।

रूसी राष्ट्रपति ने कहा कि रूस ने यूक्रेनी पक्ष के साथ बातचीत से कभी इनकार नहीं किया, जिसे उसने ठुकरा दिया था। व्लादिमीर पुतिन ने यूक्रेन संघर्ष के प्रति अफ्रीकी देशों के “संतुलित दृष्टिकोण” की प्रशंसा की थी।

पुतिन ने यात्रा पर गये नेताओं से कहा कि हम यूक्रेन संकट पर अफ्रीकी दोस्तों के संतुलित रुख का स्वागत करते हैं।” पुतिन ने कहा कि हम उन सभी के साथ रचनात्मक बातचीत के लिए तैयार हैं जो एक-दूसरे के हितों के साथ-साथ न्याय के सम्मान के सिद्धांतों के आधार पर शांति चाहते हैं।

रूसी राष्ट्रपति ने यह भी कहा कि काला सागर के माध्यम से अपने सुरक्षित मार्ग को सुनिश्चित करने वाले सौदे के तहत यूक्रेनी अनाज का निर्यात उच्च वैश्विक खाद्य कीमतों के साथ अफ्रीका की समस्याओं को हल करने में मदद नहीं कर रहा है क्योंकि केवल 3 प्रतिशत सबसे गरीब देशों में गया है। पुतिन ने कहा था कि खाद्य संकट पश्चिमी देशों की कार्रवाइयों के कारण हुआ है, न कि रूस द्वारा यूक्रेन में “विशेष सैन्य अभियान” कहे जाने के कारण।