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अब ये तुम पर निर्भर करता है कि तुम्हें किराए के घर में रहना है या नहीं!
Laxmi Kumawat ========== * ननद रानी मुझे मत सिखाओ कि मुझे अपनी सास को कैसे रखना है * “दीदी आप यहां अपनी मां से मिलने आई है, उनसे मिलिए और अपने काम से मतलब रखिए। बेवजह मेरे काम में टांग अड़ाने की जरूरत नहीं है। आखिर बर्दाश्त की भी हद होती है। जब देखो मुझे […]
जिगर मुरादाबादी : जयंती विशेष 🌻: हम को मिटा सके ये ज़माने में दम नहीं…पूरी ग़ज़ल पढ़े!
पूरी ग़ज़ल पढ़े।👇 हम को मिटा सके ये ज़माने में दम नहीं हम से ज़माना ख़ुद है ज़माने से हम नहीं बे-फ़ाएदा अलम नहीं बे-कार ग़म नहीं तौफ़ीक़ दे ख़ुदा तो ये नेमत भी कम नहीं मेरी ज़बाँ पे शिकवा-ए-अहल-ए-सितम नहीं मुझ को जगा दिया यही एहसान कम नहीं या रब हुजूम-ए-दर्द को दे और […]
“आइना….मेरे मम्मी पापा को मेरी पसन्द-नापसन्द की कोई फ़िक्र ही नहीं
लक्ष्मी कान्त पाण्डेय ============ “आइना…. चोरी-छिपे मोबाइल फोन पर दोनों घंटों बात करते रहते थे सुबह व्हाट्सएप पर गुड मॉर्निंग से देर रात गुड़ नाइट तक क्या कर रहे हो ….क्या खाया…. कहा थे…. यही सब चलता रहता था दोनों एक-दूसरे को चाहते थे अक्सर बहाने से मिलते भी रहते थे कोचिंग क्लास से शुरू […]