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चीन अंतरराष्ट्रीय मामलों में भी अब अमरीका की जगह ले रहा है?

चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग सोमवार को तीन दिवसीय दौरे पर रूस की राजधानी मास्को पहुंचे, जहां उन्होंने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ वन ऑन वन मुलाक़ात की और दोनों देशों के बीच संबंधों को अधिक मज़बूत बनाने के मुद्दे पर विचार विमर्श किया।

हाल ही में ईरान और सऊदी अरब के बीच कूटनीतिक संबंधों की बहाली के लिए मथ्यस्थता करने वाले चीन के राष्ट्रपति ने यूक्रेन संकट के समाधान के लिए एक 12 सूत्री शांति योजना पेश करने की बात कही है।

चीन के मामलों के विशेषज्ञ एडवर्ड चान का कहना है कि शी की रूस यात्रा का मक़सद, दोनों देशों के बीच नज़दीकी साझेदारी को अधिक मज़बूत बनाना है।

उन्होंने कहा कि यह उम्मीद करना उचित है कि चीन और रूस के बीच आर्थिक और कूटनीतिक रूप से मज़बूत संबंध होंगे।

कहा जा रहा है कि चीनी राष्ट्रपति की मास्को यात्रा के दौरान, पुतिन और शी जिनपिंग के बीच तेल, गैस और ऊर्जा के स्थानातंरण के लिए पाइपलाइन को लेकर भी बातचीत हो सकती है। वहीं, ईरान-सऊदी अरब के बीच दोस्ती के बाद, चीन रूस-यूक्रेन के बीच युद्ध रुकवाकर वैश्विक शांतिदूत का दर्जा हासिल करने में कामयाब होता है तो यह शी जिनपिंग के लिए बड़ी सफलता होगी।