साहित्य

कमरे में जाते ही सचिन सर ने क़मरे का दरवाज़ा अंदर से बंद कर लिया और….

Harish Yadav
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मैं उस रात को बिल्कुल भी नहीं भूल सकती ज़ब मुझे नज़र भर कर देखने के बाद सचिन सर ने मुझे अपने पास बुलाया –
“जरा इधर आओ!”
“जी कुछ कहा आपने?”-सचिन सर के पास आते हुए मैंने पूछा.
“मेरे साथ जरा इस कमरे में आओ.”- सचिन सर ने गंभीरता से कहा.
और कमरे में जाते ही सचिन सर ने कमरे का दरवाजा अंदर से बंद कर लिया और मुझे बेतहाशा चूमते हुए मेरी छातियों को दबाने लगे. मैं कुछ कहना चाहती थी लेकिन मेरे ओठ उनके मुँह में थे. वे मुझे लगातार किस करते हुए बिस्तर पर ले गए और एक एककर मेरे कपड़े उतारने लगे. मुझे भी अब मजा आने लगा था क्योंकि उनसे पहले आजतक किसी ने मेरे शरीर को छुआ भी नहीं था. उस रात के बाद सचिन सर और मेरा यह खेल तब तक चलता रहा जब तक मैं पेट से नहीं हो गई.
एक दिन अपने पेट में सचिन सर का बच्चा लिए मैं बैठी थी तभी सचिन सर की पत्नी अनु मेरे पास आ गई और उसने मेरे पेट को देखते हुए मुझसे पूछा –
“क्या तुम सचिन से प्यार करती हो?”
मैं उनसे डर के मारे कुछ कह नहीं पाई और वह मुझे पकड़कर अपने घर ले गई और…..
आगे क्या हुआ मेरे साथ? क्या किया अनु ने मेरा और मेरे बच्चे का? क्या ये सब जानने के बाद भी वह सचिन सर के साथ रिश्ता बनाये रख सकी? जानने के लिए अभी पढ़े कहानी ‘मेरे साजन की सहेली.’