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इस्राईल के लिए कठिन हुए हालात, वेस्ट बैंक में इस्राईली सैनिकों पर हुआ ताज़ा हमला : रिपोर्ट

एक हिब्रू भाषी सूत्र ने भविष्य के संभावित युद्धों में ज़ायोनी शासन की कठिन स्थिति के बारे में चेतावनी दी।

मेहर न्यूज़ एजेंसी के अनुसार, हिब्रू अखबार येदीयेत अहारनोत ने एक रिपोर्ट में लिखा है कि ज़ायोनी शासन एक नए सुरक्षा और सीमित संघर्षों के चरण में दाख़िल हो गया है।

इस अख़बार के मुताबिक इस नए सुरक्षा चरण में कई मोर्चों पर युद्ध की संभावना शामिल है और इसका मतलब यह है कि ज़ायोनी समुदाय को पता होना चाहिए कि भविष्य का युद्ध पिछले युद्धों से बिल्कुल अलग होगा।

ज़ायोनी शासन के युद्ध मंत्री यूआफ़ गैलेंट ने हाल ही में एक बैठक में कहा था कि वास्तविक सुरक्षा चुनौतियां एक ही समय में सभी क्षेत्रों में इस्राईल के लिए ख़तरा हैं इसलिए सेना को सभी दिशाओं में एक साथ विस्तार के मोर्चे को खोलने के लिए ख़ुद को तैयार करना चाहिए।

सेना के सैन्य ख़ुफ़िया संगठन के पूर्व प्रमुख का बयान ऐसी हालत में है कि जब दो हफ़्ते पहले रॉकेट हमलों के दौरान फ़िलिस्तीनी प्रतिरोधकर्ताओं ने मस्जिदुल अक़सा में इबादत करने वालों के ख़िलाफ़ ज़ायोनी सैनिकों की हिंसा के जवाब में सीरिया, दक्षिणी लेबनान और ग़ज़्ज़ा पट्टी सहित कई क्षेत्रों में इस्राईल के हितों पर एक साथ हमला किया था।

वेस्ट बैंक में इस्राईली सैनिकों पर हुआ ताज़ा हमला

फ़िलिस्तीनी संघर्षकर्ताओं ने उत्तरी वेस्ट बैंक में जेनिन के पश्चिम में ज़ायोनी सैनिकों के ख़िलाफ एक आप्रेशन किया।

ज़ायोनी शासन के नेताओं ने जो जॉर्डन नदी के पश्चिमी तट में फ़िलिस्तीनी संघर्षकर्ताओं की बढ़ती ताक़त से भयभीत हैं, हालिया महीनों में इस क्षेत्र में स्थिति को नियंत्रित करने के लिए बहुत प्रयास किए हैं और बारम्बार कई क्षेत्रों पर हमले किए हैं और वेस्ट बैंक, विशेष रूप से जेनिन शिविर में फ़िलिस्तीनियों के प्रतिरोध का सामना करना पड़ा है।

वेस्ट बैंक के उत्तरी क्षेत्र जेनिन के पश्चिम में फ़िलिस्तीनी संघर्षकर्ताओं ने ज़ायोनी सैनिकों पर फ़ायरिंग की।

फ़िलिस्तीनी संघर्षकर्ताओं ने सहल मरज इब्न आमिर क्षेत्र के पास ज़ायोनी सैनिकों को निशाना बनाया।

ज़ायोनी सैनिकों ने वेस्ट बैंक के उत्तर में नाब्लस शहर के पश्चिम में दो युवकों को भी गिरफ्तार कर लिया।

ज़ायोनियों की चिंता और वेस्ट बैंक में बढ़ते प्रतिरोध का डर, इतना बड़ा है कि इस शासन के विश्लेषकों और विशेषज्ञों ने हालिया महीनों में ज़ायोनी मीडिया में कई बार इस मुद्दे पर चर्चा की है और तेल अवीव के लिए इसके परिणामों के बारे में चेतावनी दी है।