नई दिल्ली: नवनिर्वाचित वज़ीर ऐ आज़म इमरान खान ने अपने वादे को पूरा करते हुए पाकिस्तान सरकार में वज़ीर ऐ आज़म के प्रोटोकॉल में चलने वाली 70 कारों नीलाम किया गया है,आर्थिक तंगी से झुझते पाकिस्तान की ये एक बहुत बड़ी कार्यवाही मानी जारही है।
इमरान खान ने सोमवार को 70 कारों को उनके बाजार मूल्य से ऊपर बेचा गया। एक रिपोर्ट के अनुसार निलामी की प्रक्रिया 102 लग्जरी कारों से शुरू हुई वह प्रधानमंत्री आवास की हैं जो इमरान खान के काफिले में चलती थी। लग्जरी कारों के अलावा सरकार को भारी कर्ज और देनदारियों का सामना करना पड़ रहा है। खान के वरिष्ठ सहायक ने बताया कि सरकार की अब योजना उन आठ भैसों को बेचने की है जिन्हें पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने अपनी पेट की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए पीएम आवास पर रखा था।
Pakistan's austerity car auction falls short, Imran Khan commutes by helicopter
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इमरान खान के राजनीतिक मामलों के विशेष सहायक नईम उल-हक ने कहा कि सरकार उन चार विमानों को भी बेचेगी जो बिना किसी उपयोग के कैबिनेट डिविजन में रखे हुए हैं। सोमवार को पत्रकारों से बात करते हुए सूचना मंत्री फवाद चौधरी ने कहा कि 70 कारों के पहले बैच को बेचा जा चुका है। चौधरी ने दावा करते हुए कहा, ‘इन सभी कारों को बाजार मूल्य से ऊपर बेचा गया है।’
चौधरी ने बताया कि अब बुलेट प्रूफ और बम से सुरक्षित कारों को बेचा जाएगा। जिन कारों की निलामी की जा रही है उनमें मर्सिडीज बेंच, आठ बुलेट प्रूफ बीएमडब्ल्यू, 2016 मॉडल की तीन 5000 सीसी वाली एसयूवी और दो 3000 सीसी वाली एसयूवी शामिल हैं। 2016 मॉडल की 24 मर्सिडीज बेंज की भी निलामी की जाएगी। 28 कारों में से दो 4000 सीसी वाले बुलेट प्रूफ वाहन हैं।
बाद में 40 टोयोटा कारों, एक लीक्सस एसयूवी और दो लैंड क्रूजर की निलामी होगी। जिन दूसरी कारों की निलामी होगी उनमें आठ सुजुकी कारें, 5 मित्सुबिशी कारें, 9 होंडा और 2 जीप शामिल हैं। जो लोग इन कारों की सबसे ज्यादा बोली लगाएंगे उन्हें इसका मालिकाना हक सौंप दिया जाएगा। देश के नाम अपने पहले संबोधन में खान ने सरकारी खर्च में कटौती की बात कही थी। खर्च कम करने के अलावा उन्होंने पीएम आवास के वाहनों की निलामी की घोषणा की थी।
पाकिस्तान के कर्ज और देनदारी बढ़कर 30 ट्रिलियन रुपये हो गए हैं। रिपोर्ट के अनुसार यह राशि पड़ोसी देश की पिछले साल के अंत की अर्थव्यवस्था का 87 प्रतिशत है। पिछले महीने स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान द्वारा जारी किए गए आंकड़े दिखाते हैं कि पिछले पांच सालों में पाकिस्तान का कर्ज और देनदारी 13.5 ट्रिलियन बढ़ी हैं यानी उसपर 29.9 ट्रिलियन रुपये का कर्ज है। पांच साल पहले यह कर्ज 16.4 ट्रिलियन रुपये था।