लखनऊ। सत्तारूढ़ समाजवादी पार्टी में दो विधायकों के कौमी एकता दल के विलय के बाद ही सरकार बाहुबली मुख्तार अंसारी पर मेहरबान हो गई। आगरा सेंट्रल जेल में निरुद्ध मुख्तार की लखनऊ जेल में रहने की इच्छा पूरी कर दी गई।
लखनऊ में जेल अधीक्षक शशिकांत मिश्रा ने बताया कि मुख्तार अंसारी को लखनऊ जेल में शिफ्ट कर दिया गया है। मुख्तार अंसारी इसके पहले भी लखनऊ जेल में जमे थे लेकिन उनकी करतूतों के उजागर होने के बाद उन्हें आगरा भेजा गया था। जेल में तमाम सुविधाओं के साथ दरबार लगाने वाले मुख्तार के बारे में आरोप है कि वह यहीं से पंचायत करते थे। अब एक बार फिर लखनऊ जेल में आने से वह अपने एजेंडे पर काम करेंगे।
कौमी एकता दल के समाजवादी पार्टी में विलय की सुगबुगाहट के बीच ही मुख्तार अंसारी को आगरा से लखनऊ जेल शिफ्ट किये जाने का आदेश 17 जून को हुआ था। आगरा कार्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक मुख्तार अंसारी को परसों रात लखनऊ जेल के लिए स्थानांतरित किया गया। मुख्तार के गुर्गों के 28 मार्च को लखनऊ में पत्रकार पर हमला करने के बाद उन्हें 31 मार्च को आगरा सेंट्रल जेल भेजा गया था।
करीब एक माह पूर्व अंसारी ने महानिरीक्षक कारागार को प्रार्थना-पत्र दिया, जिसमें अपनी हाईपरटेंशन, डायबीटिज और सर्वाइकल संबंधी बीमारी का हवाला दिया था। इसमें उन्होने हवाला दिया था कि लखनऊ के केजीएमयू और संजय गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान में उनका इलाज चल रहा है।
सर्वाइकल के चलते डॉक्टरों ने लंबी यात्रा नहीं करने की सलाह दी थी। शासन ने आगरा सेंट्रल जेल प्रशासन से इस बारे में रिपोर्ट मांगी। डॉक्टरों रिपोर्ट के आधार पर परसों शाम को इलाज में सुविधा के लिए लखनऊ की जेल में स्थानांतरित कर दिया।