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वो विधवा थी पर श्रृंगार ऐसा कर के रखती थी कि पूछो मत…
लक्ष्मी कांत पाण्डेय =============== · वो विधवा थी पर श्रृंगार ऐसा कर के रखती थी कि पूछो मत। बिंदी के सिवाय सब कुछ लगाती थी। पूरी कॉलोनी में उनके चर्चे थे। उनका एक बेटा भी था जो अभी नौंवी कक्षा में था । पति रेलवे में थे उनके गुजर जाने के बाद रेलवे ने उन्हें […]
सुख की कुंजी….By-सनाउल्लाह ख़ान अहसान
सनाउल्लाह खान अहसान karachi, pakistan ============= सुख की कुंजी कल रात एक ऐसी घटना घटी जिसने जीवन के कई पहलुओं को छुआ। शाम के करीब सात बजे होंगे। मोबाइल फोन बज उठा। उठाया तो यहां से रोने की आवाज आई। बड़ी मुश्किल से मैंने उन्हें चुप करवाया और पूछा क्या हुआ भाभी? उधर से आवाज […]
वीर तुम अड़े रहो, रजाई में पड़े रहो!!By-यदवेंदेर शर्मा!!
रायता · Yadvinder Sharma · =============== वीर तुम अड़े रहो, रजाई में पड़े रहो।। चाय का मजा, मिले, सिकी ब्रेड भी मिले। मुंह कभी दिखे नहीं, रजाई, खिसके नहीं। मां की लताड़ हो, या बाप की दहाड़ हो। तुम निडर डटो वहीं, रजाई से उठो नहीं। वीर तुम अड़े रहो, रजाई में पड़े रहो।। मुंह […]