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अभी-अभी : तुर्की में फिर आया भूकंप : तुर्की और सीरिया में भारी तबाही, मरने वालों की तादाद 2000 हुई, 10000 लोग ज़ख़्मी, 5 हज़ार मकानों को हुआ नुक्सान : लेटेस्ट रिपोर्ट

अमेरिकी भूगर्भीय सर्वे ‘यूएसजीएस’ के अनुसार भूकंप का पहला झटका सीरियाई सीमा के क़रीब गाज़िएनटेप में कहमानमारश के पास महसूस किया गया.

यूएसजीएस के मुताबिक़, इस भूकंप की तीव्रता 7.8 दर्ज की गयी है.

तुर्की के दक्षिण में सीरियाई सीमा के पास स्थानीय समयानुसार सवेरे 4:17 को भूकंप का एक शक्तिशाली झटका महसूस किया गया है.
पहले झटके के कुछ मिनट बाद एक और शक्तिशाली झटका महसूस किया गया.
तुर्की आपदा प्रबंधन एजेंसी ने कहा है किपूरे इलाक़े में एक के बाद एक40 से अधिक आफ़्टरशॉक महसूस किए गए हैं.
तुर्की समेत लेबनान, सीरिया, साइप्रस, इसराइल और फ़लस्तीन में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं.
तुर्की केराष्ट्रपतिअर्दोआन ने देश में आपातकाल लागू कर दिया है.यहांतेज़ी सेराहतऔर बचाव कार्य किया जा रहा है.
अधिकारियों के अनुसार तुर्की और सीरिया में अब तक 500 से अधिक लोगों की मौत की ख़बर है.

तुर्की में सोमवार तड़के एक के बाद भूकंप के दो शक्तिशाली झटके महसूस किए गए हैं. इसके बाद तुर्की सरकार ने आपातकाल लगाने की घोषणा की है.

बीबीसी तुर्की सेवा के संवाददाताओं ने बताया है कि भूकंप प्रभावित इलाकों में इमारतों को भारी नुक़सान पहुंचा है.

तुर्की में तेज़ी से बचाव कार्य किया जा रहा है, लेकिन अधिकारी आशंका जता रहे हैं कि अभी भी कई लोग मलबे में दबे हो सकते हैं.

अमेरिकी भूगर्भीय सर्वे ‘यूएसजीएस’ के अनुसार भूकंप का पहला झटका सीरियाई सीमा के क़रीब गाज़िएनटेप में कहमानमारश के पास महसूस किया गया. यूएसजीएस के मुताबिक़, इस भूकंप की तीव्रता 7.8 दर्ज की गयी.

तेज़ी से बढ़ रहा मौतों का आंकड़ा
तुर्की के गृह मंत्री सुलेमान शोयलू ने कहा कि भूकंप का बड़ा असर देश के 10 शहरों- कहमानमारश, हैटे, गाज़िएनटेप, ओस्मानिये, अदियामान, सनलिउर्फ़ा, मलेटिया, अदाना, दियारबाकिएर और किलिस पर पड़ा है.

तुर्की और उसके पड़ोसी सीरिया में भूकंप के कारण 500 से अधिक लोगों की मौत हुई है. अधिकारियों का कहना है कि मौतों का ये आंकड़ा तेज़ी से बढ़ रहा है.\

तुर्की के उप राष्ट्रपति फुआत ओक्टाए ने कहा है कि देश में भूकंप के कारण मौतों की आंकड़ा 284 हो चुका है जबकि घायलों की संख्या 2,323 हो गई है.
सीरियाई स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि यहां अब तक 237 लोगों के मरने और 600 से अधिक लोगों के घायल होने की ख़बर है.
सीरिया के अलेप्पो, लटाकिया, हामा और टार्टस में भूकंप के कारण भीषण तबाही की ख़बर है. अलेप्पो में बड़ी संख्या में इमारतों के गिरने की भी ख़बरें हैं.

यूके स्थित सीरियाई ऑब्ज़रवेटरी फ़ॉर ह्यूमन राइट्स ने कहा है कि सीरिया में भूकंप 320 से लोगों की जान गई है.

सरियाई राष्ट्रपति बशर अल-असद ने सोमवार सवेरे इस मुद्दे पर आपातकालीन बैठक की है.

मदद के लिए अमेरिका आया सामने
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने देश की इंटरनेशनल डेवेलपमेन्ट एजेंसी से ये आकलन करने को कहा है कि ऐसे हालातों में किस तरह की मदद पहुंचाई जाए.

व्हाइट हाउस के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन ने कहा है कि तुर्की और सीरिया में आए भूकंप से हुई तबाही से अमेरिका चिन्तित है.

उन्होंने लिखा, “मैं तुर्की में अधिकारियों के साथ संपर्क में हूं. इस मौक़े पर हम तरह की मदद करने को तैयार है. हम तुर्की में स्थिति पर नज़र बनाए हुए हैं. “


पीएम मोदी ने जताया दुख
तुर्की में आई इस आपदा पर भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गहरा दुख जताया है.

ट्विटर पर उन्होंने लिखा, “तुर्की में आए भूकंप के कारण हुई जान-माल की क्षति से दुख हुआ. शोक संतप्त परिवारों को सांत्वना. घायल लोगों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं. भारत तुर्की के लोगों के साथ खड़ा है और हर इस संकट से उबरने में हर संभव मदद करने को तैयार है.”

इसराइल के विदेश मंत्री एली कोहेन ने कहा है कि तुर्की की मदद के लिए वो तैयारी कर रहे हैं.

समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने कहा कि इसराइल के रक्षा मंत्री ने कहा है कि ज़रूरत पड़ने पर राहत कार्य में मदद के लिए उसके सैनिक तुरंत रवाना होने को तैयार है.


अर्दोआन ने जारी किया बयान
तुर्की के राष्ट्रपति रिचेप तैय्यप अर्दोआन ने भूकंप प्रभावित इलाक़ों में शुरु किए गए बचाव अभियानों को लेकर ट्विटर पर जानकारी दी है.

उन्होंने लिखा है, “मैं कहमानमारश समेत देश के दूसरे इलाकों में भूकंप से प्रभावित हुए अपने नागरिकों के प्रति संवेदना प्रकट करता हूं. हमारे सभी बचाव दल एएफ़एडी के समन्वय में सक्रिय रूप से काम कर रहे हैं.

हमारी तलाश और बचाव टीमों को भूकंप प्रभावित इलाकों में भेज दिया गया है. इसके साथ ही गृह मंत्रालय समेत तमाम अन्य एजेंसियों की ओर से बचाव अभियान शुरू कर दिया गया है.

पहला झटका सीरियाई सीमा के क़रीब
तुर्की के गाज़िएनटेप में आए भूकंप का केंद्र तुर्की से 26 किलोमीटर दूर पूर्व में नूरदा के पास बताया जा रहा है.

समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने जर्मन रिसर्च सेंटर ऑफ़ जियोसाइन्सेज़ (जीएफ़ज़ी) के हवाले से इसे 7.4 तीव्रता का भूकंप बताया गया है. जीएफ़ज़ी के अनुसार भूकंप का केंद्र ज़मीन से 10 किलोमीटर नीचे था.

वहीं यूएसजीएस ने कहा है कि भूकंप का केंद्र ज़मीन से 11 मील नीचे था. यूएसजीएस के अनुसार इसकी तीव्रता पर 7.8 थी.

दूसरा झटका केंद्रीय तुर्की के पास
इसके कुछ देर बाद दूसरा झटका केंद्रीय तुर्की में महसूस किया गया है.

यूएसजीएस के अनुसार दूसरे झटके की तीव्रता 6.7 थी जिसका केंद्र ज़मीन के 12 किलोमीटर नीचे था.

मिल रही ख़बरों के अनुसार भूकंप के कारण कई इमारतें गिर गई हैं और इनके मलबे में लोग फंसे हो सकते हैं.

बीबीसी तुर्की सेवा से संवाददाता दियारबकर ने कहा है कि भूकंप के कारण शहर का एक शॉपिंग मॉल ज़मींदोज़ हो गया है.

वहीं ग़ज़ा पट्टी में मौजूद बीबीसी संवाददाता रुश्दी अबूअलूफ़ ने कहा है ग़जा में क़रीब 45 सेकंड तक उन्होंने भूकंप के झटके महसूस किए.

अमेरिकी भूगर्भीय सर्वे ‘यूएसजीएस’ के अनुसार भूकंप के दो तेज़ झटकों के बाद यहां एक के बार एक आफ़्टर शॉक आ रहे हैं.

पहले भी आते रहे हैं भूकंप
तुर्की का अधिकतर हिस्सा अनातोलिया के टैक्टोनिक प्लेट पर है. ये प्लेट यूरोशिया और अफ्ऱीका के साथ-साथ अरबी टैक्टोनिक प्लेट के बीच में है. मतलब ये कि यूरोशिया और अफ्ऱीका की टैक्टोनिक प्लेटों में हल्की-सी भी हरकत होती है तो ये तुर्की की प्लेट पर दबाव डालती है.
भूकंप के लिहाज़ से तुर्की दुनिया के सबसे अधिक संवेदनशील इलाक़ों में आता है.
तुर्की आपदा प्रबंधन एजेंसी ने के अनुसार बीते साल यहां 22 हज़ार छोटे-बड़े भूकंप आए थे.
2020 जनवरी में यहां के एलाज़िग में 6.8 तीव्रता का भूकंप आया था जिसमें क़रीब 40 से अधिक लोगों की मौत हुई.
इसी साल अक्तूबर में एजियन सागर में 7.0 तीव्रता का भूकंप आया था जिसमें 114 लोगों की मौत हुई और हज़ार से अधिक लोग घायल हुए.
1999 में दूजा में 7.4 तीव्रता का भूकंप आया था. इसमें 17 हज़ार से अधिक लोग मारे गए थे जिसमें से एक हज़ार लोग केवल इस्तांबुल में मारे गए थे.