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ये तस्वीरें ख़तरनाक़ हैं। ये भारत के अंधकारमय भविष्य को प्रतिबिंबित करती हैं…पांच हज़ार साल की सभ्यता के मुँह पर कालिख!

Dr. Mukesh Kumar
@mukeshbudharwi
ये तस्वीरें ख़तरनाक़ हैं। ये भारत के अंधकारमय भविष्य को प्रतिबिंबित करती हैं।
योगी आदित्यनाथ और संघ परिवार की इस हरकत ने पांच हज़ार साल की सभ्यता के मुँह पर कालिख पोत दी है।
ये सनातन धर्म पर कीचड़ उछालने जैसा है।
ये साझी विरासत के सीने पर हिंदुत्व नामक खंजर का वार है।
ये फासीवाद की दिशा में एक बड़ा क़दम है।
योगी नफ़रत और हिंसा से सराबोर हिंदुत्व का एक ऐसा मॉडल खड़ा कर रहे हैं जिसका अनुकरण दूसरे बीजेपी शासित राज्य करेंगे।

Krishna Kant
@kkjourno
सैकड़ों साल के इतिहास में ऐसा पहली बार है जब हिंदू त्यौहार के दौरान मुस्लिम धर्म स्थलों को ढंका जा रहा है। मुगल काल में या अंग्रेजी राज में ऐसा हुआ हो, मुझे मालूम नहीं।

इससे दुनिया भर में हिंदुओं की बदनामी तो होगी ही, यह भारतीय संस्कृति के खिलाफ है। यह संविधान के खिलाफ है। यह लोकतंत्र के खिलाफ है। यह मानवता के खिलाफ है।

मैं यह मरते दम तक नहीं भूल सकता कि हमारी होली की चौताल में सुबराती चाचा ढोल बजाते थे। ऐसा क्या हुआ कि हर शहर में गैर हिंदू धर्मस्थल बर्दाश्त नहीं हो सकते।

यह तालिबान और ISIS जैसा है। समाज यही चाहता है तो यही सही, लेकिन इससे हम दुनिया में मुंह दिखाने लायक नहीं रहेंगे।

इससे यह भी पता चलता है कि इस देश में ऐसी सरकार है जो किसी काम की नहीं है। जिससे सामान्य प्रशासन भी नहीं संभाला जा सकता। ऐसी नकारा सरकारें समाज को तहस नहस करती हैं। आज वही हो रहा है।

डिस्क्लेमर : लेखक के निजी विचार हैं, तीसरी जंग हिंदी का कोई सरोकार नहीं!